हावड़ा / कोलकाता : अभी तक आपने इंसान के साथ-साथ कई सारी चीजों का जन्मदिन मनते हुए देखा होगा लेकिन हावड़ा में रविवार को एक बस रूट का जन्मदिन पूरे उत्साह के साथ मनाया गया। हावड़ा के रामराजातल्ला में कुछ लोगों को बस को सजाते हुए देखा गया। पूछने पर पता चला कि 52 नंबर बस रूट के 100 साल पूरे हो चुके हैं और इसी को सेलिब्रेट करने के लिए बस को सजाया जा रहा है। रोज की खबरों से यह बिल्कुल अलग खबर लगी इसलिए इसकी जानकारी जुटाने में थोड़ा विलम्ब भी अपेक्षित नहीं था। सजावट कर रहे लोगों ने बताया कि वर्ष 1922 से 52 नंबर रूट में बस की यात्रा शुरू हुई थी। हालांकि तब इस रूट का कोई नाम नहीं था। उस समय बसों की संख्या भी कम थी। रामराजातल्ला से हावड़ा स्टेशन तक इस रूट से बस की सेवा प्रदान की जाती थी। देश को आजादी मिलने के बाद इस बस रूट का नामकरण हुआ। आज जिसे लोग 52 नंबर बस रूट के नाम से जानते हैं।
एक समय इस रूट में बस का किराया 5 पैसे था और बस कोयला से चलती थी। यूँ कहें कि यह 52 नंबर बस रूट अति प्राचीन बस रूट है जो रामराजातल्ला से हावड़ा तक चलते हुए अब धर्मतल्ला तक अपनी सेवा का विस्तार कर चुकी है।
आज केक काटकर 52 नंबर रूट के 100 साल पूरे होने का जश्न मनाया गया। 52-58 रूट बस मालिक संगठन के सचिव भोलानाथ चौधरी ने कहा कि उनके संगठन की ओर से 52 नंबर रूट को हेरिटेज घोषित करने की मांग राज्य सरकार से की जा रही है। उन्होंने यह भी कहा कि 100 साल की इस बस रूट के साथ रामराजातल्ला के 300 सालों का प्राचीन इतिहास भी जुड़ा हुआ है।