कोलकाता : गुरुदेव रवींद्रनाथ टैगोर की 161वीं जयंती पर सोमवार को पूर्व बर्दवान जिले के भातार से तृणमूल कांग्रेस विधायक मानगोविंद अधिकारी ने टैगोर को मिले नोबेल पुरस्कार को लेकर विवादास्पद बयान दिया है। सोमवार को रवीन्द्रनाथ की जयंती कार्यक्रम में वक्तव्य रखते हुए उन्होंने कहा कि रवीन्द्रनाथ को नोबेल देकर अपमानित किया गया था इसीलिए बंगाल के लड़कों ने नोबेल चुरा लिया और सीबीआई अभी तक उसका पता नहीं लगा सका है। हालांकि बयान पर विवाद बढ़ने का अहसास होते ही तृणमूल विधायक ने सफाई के सुर में कहा कि उन्होंने मजाक के अंदाज में उक्त बातें कही थीं।
प्राप्त जानकारी के अनुसार पूर्व बर्दवान जिले के भातार तृणमूल ब्लॉक कार्यालय में सोमवार को रवींद्र जयंती का कार्यक्रम आयोजित किया गया था। इस कार्यक्रम में कविगुरु की प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं श्रद्धांजलि के बाद उपस्थित लोगों ने कविगुरु के बारे में अपने- अपने विचार रखे। इस बीच भातार से तृणमूल विधायक ने कहा कि रवीन्द्रनाथ को नोबेल देकर अपमान किया गया था इसलिए बंगाल के पुत्रों ने नोबेल चोरी किया है जिसका पता सीबीआई अभी तक नहीं लगा पा रहा है, केवल राज्य पुलिस ही उस नोबेल को बरामद कर सकेगी।
हालांकि गलती का अहसास होते ही सफाई देते हुए उन्होंने कहा कि उन्होंने मजाक में उक्त बातें कही थी। कविगुरु का नोबेल चोरी होना दुर्भाग्यजनक है। असल में लोग चाहते हैं कि नोबेल बहुत जल्द बरामद हो जाए।
उल्लेखनीय है कि 25 मार्च 2004 को विश्वभारती के रवीन्द्रभवन संग्रहालय से टैगोर को मिले नोबेल पदक सहित 50 कीमती सामान चोरी किये गए थे। मामले की जांच का जिम्मा सीबीआई को सौंपी गई थी। पहले स्तर पर 2004 से 2007 तक चली जांच में कोई नतीजा नहीं निकला। इसके बाद सितम्बर 2008 में सीबीआई ने इस मामले में जांच को फिर से शुरू करने का आवेदन कोर्ट में किया लेकिन अगस्त 2009 में एक बार फिर सीबीआई ने कोर्ट को बताया कि जांच आगे नहीं बढ़ पा रही है इसलिए इसे बंद करने की अनुमति दी जाये। इस पर विचार करने के बाद अदालत ने 2010 के अगस्त महीने में जांच बंद करने पर सहमति दे दी।