विश्व इतिहास में 12 सितंबर की तारीख भारत के महान तैराक मिहिर सेन की उपलब्धियों से जुड़ी है। मिहिर सेन को लंबी दूरी तय करने वाला बेहतरीन तैराक माना जाता है। इंग्लिश चैनल को तैरकर पार करने से लंबी दूरी की तैराकी के अपने अभियान की शुरुआत करने वाले मिहिर सेन ने अपनी हिम्मत और दृढ़ निश्चय से महासागरों को पार करने में सफलता हासिल की और 12 सितंबर, 1966 को उन्होंने डारडेनेल्स जलडमरूमध्य को तैरकर पार किया।
डारडेनेल्स को पार करने वाले वह विश्व के प्रथम व्यक्ति बने। पांच महाद्वीपों के सातों समुद्रों को तैरकर पार करने वाले मिहिर सेन विश्व के प्रथम व्यक्ति रहे। 16 नवम्बर, 1930 को पश्चिम बंगाल के पुरुलिया में जन्मे मिहिर सेन की साहसिक और बेजोड़ उपलब्धियों के कारण भारत सरकार ने उन्हें 1959 में ‘पद्मश्री’ प्रदान किया गया और 1967 में उन्हें ‘पद्मभूषण’ प्रदान किया गया। 11 जून, 1997 को मिहिर सेन ने कोलकाता में आखिरी सांस ली।