नए सिरे से भड़की हिंसा के बाद हावड़ा स्टेशन पर देर रात तीन घंटे तक खड़ी रही गाड़ियां, डर से सहमे रहे यात्री

कोलकाता : हुगली जिला अंतर्गत रिसड़ा स्टेशन पर सोमवार की रात नए सिरे से भड़की हिंसा का ट्रेनों के संचालन पर भी असर पड़ा है। रात 9:30 बजे के करीब रिसड़ा स्टेशन के चार नंबर रेल गेट के पास बमबारी, आगजनी, पथराव और तोड़फोड़ शुरू हो गई। इसकी वजह से कोन्ननगर से लेकर हावड़ा तक सभी ट्रेनों को रोक दिया गया। इधर श्रीरामपुर से लेकर बर्धमान तक ट्रेनों को रोकना पड़ा।

हालात के बिगड़ने का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि जो ट्रेन रात 9:51 पर रुकी, वह रात 1:00 बजे के करीब गंतव्य के लिए रवाना हुई। कोन्ननगर से लेकर हावड़ा स्टेशन के बीच लगभग प्रत्येक स्टेशन पर कई ट्रेनें खड़ी हो गईं। इसे लेकर यात्री डर के साए में बैठे थे।

इधर, हावड़ा स्टेशन पर ट्रेनों के देर से छोड़े जाने की वजह से यात्रियों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया। नाराज यात्रियों को रेलवे अधिकारियों ने समझाया-बुझाया। लगातार एनाउंस हो रहा था कि स्टेशन के रेल गेट के पास विरोध प्रदर्शन और बमबारी की वजह से ट्रेनों का संचालन रोका गया है। दंगाइयों ने रेल गेट को बंद करने से रोक दिया था जिसकी वजह से ट्रेनों का संचालन ठप हो गया था।

पूर्व रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी कौशिक मित्रा ने मंगलवार सुबह बताया कि स्टेशन से बाहर किसी भी तरह की हिंसा होने पर उसकी जिम्मेवारी पुलिस प्रशासन की होती है। रेलवे की ओर से इस बारे में प्रशासन से संपर्क किया गया था लेकिन हालात काबू होने में वक्त लगा। इस वजह से ट्रेनों का संचालन रोक दिया गया था।

बर्धमान बण्डेल की ओर जाने वाली करीब एक दर्जन से अधिक ट्रेनें रोक दी गई थीं जबकि हावड़ा से खुलकर काठगोदाम तक जाने वाली बिहार, उत्तर प्रदेश की प्रमुख ट्रेन बाघ एक्सप्रेस को भी रोक देना पड़ा था। रात 1:05 पर बाघ एक्सप्रेस रवाना हुई जिसे लेकर यात्रियों ने कड़ी नाराजगी जताई। आरोप है कि ट्रेन में पानी भी नहीं मिल रहा था और स्टेशन के आसपास दुकानें बंद होने की वजह से यात्री काफी परेशानी में थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *