कोलकाता : पश्चिम बंगाल में शिक्षक नियुक्ति भ्रष्टाचार के एक और मामले में कलकत्ता हाई कोर्ट ने सीबीआई जांच का आदेश दिया है। न्यायमूर्ति अभिजीत गांगुली के एकल पीठ ने प्राथमिक शिक्षक नियुक्ति के लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा (टेट) की उत्तर पुस्तिका (ओएमआर) शीट नष्ट करने की घटना की सीबीआई जांच का आदेश दिया है। कोर्ट ने बताया है कि 12 लाख से अधिक ओएमआर शीट को नष्ट किया गया है। आखिर ऐसा क्यों हुआ, इसकी जांच तुरंत सीबीआई शुरू करें।
आरोप लगते रहे हैं कि वर्ष 2014 की टेट ओएमआर शीट या उत्तर पुस्तिका को नष्ट कर दिया गया है। कुल मिलाकर हाई कोर्ट को 12 लाख से अधिक ओएमआर शीट नष्ट करने की शिकायतें मिली हैं। इस संदर्भ में न्यायमूर्ति गांगुली ने सीबीआई जांच के आदेश दिए। सीबीआई को एक महीने के भीतर जांच कर रिपोर्ट देनी होगी। मामले की अगली सुनवाई एक नवंबर को होनी है।
साथ ही कोर्ट ने बोर्ड के अपदस्थ अध्यक्ष मानिक भट्टाचार्य से मंगलवार को पूछताछ करने का आदेश दिया। अगर वह जांच में सहयोग नहीं करता हैं तो भी सीबीआई उन्हें हिरासत में लेकर पूछताछ कर सकता है।
इससे पहले हाई कोर्ट के निर्देश पर प्राथमिक शिक्षकों की नियुक्ति से जुड़े मामले में जांच की जिम्मेदारी सीबीआई को दी गई थी। बाद में राज्य के प्राथमिक विद्यालयों में नियोजित शिक्षकों की भर्ती के संबंध में सभी जानकारी मांगी गई है। सीबीआई ने वर्ष 2011 में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की सरकार के सत्ता में आने के बाद नियुक्त किए गए सभी शिक्षकों के नियुक्ति पत्र सहित सभी दस्तावेजों को अपने कब्जे में ले लिया है। संबंधित मामलों में कई गिरफ्तारियां हो चुकी हैं।
इससे पहले सोमवार को न्यायमूर्ति गांगुली ने प्राथमिक शिक्षा बोर्ड को तीन हज़ार 929 और प्राथमिक स्कूल शिक्षकों की भर्ती की प्रक्रिया शुरू करने का निर्देश दिया था। कोर्ट ने उन पदों के लिए भर्ती प्रक्रिया शुरू करने का निर्देश दिया जो वर्ष 2020 में प्रारंभिक भर्ती के बाद भी खाली हैं। वहीं, सभी दस्तावेजों की जांच के बाद योग्य उम्मीदवारों को नौकरी देने का निर्देश दिया गया है।