कोलकाता : पश्चिम बंगाल के बहुचर्चित कोयला तस्करी मामले के मास्टरमाइंड विनय मिश्रा के भाई विकास मिश्र को प्रेसिडेंसी सेंट्रल जेल में अतिरिक्त सुविधाएं देने के आरोप जेल सुपर पर लगे हैं। इसे लेकर गुरुवार को कोर्ट ने जेल सुपर को ही जेल में डालने की चेतावनी दे दी है। जेल सुपर का नाम देवाशीष चक्रवर्ती है।
तृणमूल कांग्रेस के युवा नेता और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे अभिषेक के बेहद खास विनय मिश्रा के भाई विकास को पहले ईडी ने गिरफ्तार किया था। उसके बाद से सीबीआई की हिरासत में वह लंबे समय से प्रेसिडेंसी सेंट्रल जेल में बंद है। सीबीआई पूछताछ में बाधा और मिश्रा को जेल में अतिरिक्त सुविधाएं देने के मामले में न्यायमूर्ति जयमाल्य बागची और अजय कुमार गुप्त के खंडपीठ में गुरुवार को सुनवाई हुई।
कोर्ट ने कहा कि साक्ष्यों से स्पष्ट है कि प्रेसिडेंसी जेल अधीक्षक खुद ही विकास मिश्रा को विशेष सुविधाएं दे रहे हैं इसलिए उन पर जुर्माना लगेगा। अगर जुर्माना देने में आनाकानी करते हैं तो इन्हें जेल भी भेजा जाएगा।
न्यायाधीश ने कहा कि आप बार-बार विकास को स्वस्थ होने के बावजूद जेल से अस्पताल क्यों भेज रहे हैं? बहुत आपका मन बढ़ गया है! अंजाम भुगतना होगा।
अधीक्षक को फटकार लगाते हुए कोर्ट ने कहा कि राज्य के सबसे बड़े जेल में से एक की इतनी बड़ी जिम्मेदारी आपकी है। वहां अगर आप इस तरह से करेंगे तो यह स्पष्ट है कि आप जांच को प्रभावित कर रहे हैं। उसके बाद उन्होंने जेल अधीक्षक पर 10 हजार रुपये का जुर्माना लगाया। 48 घंटे के अंदर जुर्माना जमा नहीं करने पर सात दिनों की जेल भेजने की चेतावनी कोर्ट ने दी है।
दरअसल ईडी के हाथों गिरफ्तार विकास मिश्रा फिलहाल सीबीआई की हिरासत में है। केंद्रीय एजेंसी ने कोर्ट में बताया कि बार-बार जेल में पूछताछ में उन्हें बाधा दी जाती है और स्वस्थ होने के बावजूद विकास को अस्पताल भेज दिया जाता है। जेल प्रबंधन सबकुछ जानबूझकर कर रहा है। इसके बाद ही कोर्ट ने उक्त कदम उठाया है।