कोलकाता : पूरे देश के साथ पश्चिम बंगाल में भी कोरोना की तेज रफ्तार स्वास्थ्य विभाग की चिंता बढ़ा रहा है। राजस्व विभाग के सूत्रों ने मंगलवार को बताया कि राजधानी कोलकाता समेत राज्य के कई जिलों में पॉजिटिविटी रेट 10 फ़ीसदी से अधिक हो गई है, जिसके कारण चिंता बढ़ रही है। एक बार फिर राज्य में मास्क और सैनेटाइजर के साथ ही कोरोना प्रोटोकॉल का पालन अनिवार्य करने के बारे में विचार किया जा रहा है।
राज्य स्वास्थ्य विभाग के सूत्रों के मुताबिक राजधानी कोलकाता में सप्ताहिक पॉजिटिविटी दर 12 फ़ीसदी है, जबकि पहाड़ी क्षेत्र कलिंगपोंग और दार्जिलिंग में 12.5 फ़ीसदी और 10.1 फ़ीसदी है। सोमवार को राज्य सचिवालय में जब बैठक हुई थी, तब मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भी इसे लेकर चिंता जाहिर की थी और मुख्य सचिव को हालात से निपटने के लिए तैयारियां करने का निर्देश दिया था।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक पश्चिम बंगाल में पिछले 24 घंटे में 90 लोगों के संक्रमित होने के आंकड़े पेश किए गए हैं। पिछले छह महीनों में यह सबसे अधिक है। वहीं राज्य में कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या बढ़कर 641 हो गई है। हालांकि राज्य स्वास्थ्य विभाग की ओर से कोरोना संक्रमित लोगों का आंकड़ा जारी नहीं किया जा रहा।
विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि राज्य में भले ही संक्रमण में बढ़ोतरी हुई है, लेकिन लक्षण बहुत अधिक घातक नहीं है। इसलिए बहुत कम मरीजों को अस्पताल में भर्ती करने की जरूरत पड़ी है। वर्ष 2022 के अक्टूबर महीने में भी 600 से अधिक मरीज संक्रमित थे और लगभग छह महीने के बाद इस तरह के हालात बने हैं। इसलिए एहतियातन सरकार इस पर नजर रख रही है और आवश्यकतानुसार कदम उठाया जाएगा।