कोलकाता : बकाया डीए की मांग को लेकर सरकारी कर्मचारियों ने आंदोलन और तेज कर दिया है। उन्होंने डिजिटल असहयोग और कोई अतिरिक्त काम नहीं करने की भी घोषणा की। यहां तक कि राज्य सरकार की यूनियनों ने भी आज यानी शनिवार से डिजिटल असहयोग की स्पष्ट चेतावनी जारी की है। पिछले 50 दिनों से कर्मचारियों का एक वर्ग महंगाई भत्ते की बकाया राशि की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहा है। इतना ही नहीं, वे भूख हड़ताल भी कर रहे हैं।
राज्य सरकार के कर्मचारी कई बार हड़ताल पर जा चुके हैं। यहां तक कि सरकारी कार्यालयों और स्कूलों में भी हड़तालें हुई हैं लेकिन डीए पर सरकार का रुख सख्त है। ऐसे में सरकारी कर्मचारियों ने कहा है कि जनशक्ति की कमी के कारण हमें अक्सर कार्यालय समय के बाहर काम करना पड़ता है। यहां तक कि ऐसा करने के लिए हमें अपना फोन या डेटा, लैपटॉप का इस्तेमाल करना पड़ता है। अब इन सब चीजों का दोबारा इस्तेमाल नहीं करेंगे।
दूसरी ओर, आंदोलनकारियों ने यह भी कहा है कि उन्होंने कई व्हाट्सऐप ग्रुप छोड़े हैं। कई बार वरिष्ठ अधिकारियों ने काम के सिलसिले में कर्मचारियों के साथ व्हाट्सऐप ग्रुप बनाए जाते हैं। उस ग्रुप में तरह-तरह के टास्क दिए जाते हैं। ऐसे में प्रदर्शनकारियों ने सभी व्हाट्सऐप ग्रुप छोड़ने का ऐलान कर दिया है। इस घोषणा से निस्संदेह राज्य सरकार पर दबाव बढ़ने की उम्मीद है।
वहीं, आईएसएफ विधायक नौशाद सिद्दीकी आज राज्य सरकार के कर्मचारियों की रैली में गए थे। प्रदर्शनकारी कर्मचारियों ने आज सांकेतिक सामूहिक भूख हड़ताल का आह्वान किया था जिसमें शामिल होने के लिये नौशाद आज सुबह वहां पहुंचे। उन्होंने अन्य प्रदर्शनकारियों के साथ सांकेतिक सामूहिक भूख हड़ताल में भी भाग लिया। वहीं दूसरी ओर खबर मिली है कि पिछले कुछ दिनों से चल रहे अनशन के चलते आज एक और प्रदर्शनकारी बीमार पड़ गया है।
मंच पर नौशाद से एक व्यक्ति ने धक्का-मुक्की भी की। वह व्यक्ति हावड़ा के बांकड़ा का निवासी बताया गया है।