कोलकाता : राज्य के बहुचर्चित शिक्षक नियुक्ति भ्रष्टाचार के मामले में गिरफ्तार किए गए पूर्व शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी के खिलाफ न्यायिक प्रक्रिया शुरू करने की अनुमति राज्यपाल डॉक्टर सी वी आनंद बोस ने दे दी है। नियुक्ति भ्रष्टाचार मामले में हाईकोर्ट के आदेश के बाद प्राथमिकी दर्ज कर जांच कर रही सीबीआई ने पार्थ चटर्जी के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की है।
जब वह केंद्रीय एजेंसी के हाथों गिरफ्तार हुए थे तब वह राज्य के उद्योग मंत्री थे। विधानसभा सदस्य होने की वजह से नियमानुसार उनके खिलाफ न्यायिक प्रक्रिया शुरू करने के लिए विधानसभा अध्यक्ष अथवा राज्यपाल की अनुमति की जरूरत पड़ती है। संविधान की धारा 163 के मुताबिक अपने संवैधानिक अधिकार का इस्तेमाल करते हुए राज्यपाल ने मंगलवार रात सीबीआई को पार्थ के खिलाफ न्यायिक प्रक्रिया शुरू करने की अनुमति दे दी है।
दरअसल गिरफ्तारी के बाद से पार्थ चटर्जी को प्रेसीडेंसी सेंट्रल जेल में रखा गया है। उनके खिलाफ सीबीआई कोर्ट में चार्जशीट दाखिल कर दी है। लेकिन इस मामले में आगे की न्यायिक प्रक्रिया शुरू करने के लिए राज्यपाल या विधानसभा अध्यक्ष की अनुमति की जरूरत थी। उसी के मुताबिक मंगलवार रात राज्यपाल ने अनुमति दे दी है। उल्लेखनीय है कि पार्थ चटर्जी के सहयोगी अर्पिता मुखर्जी के घर से 49 करोड़ रुपये नगदी और करीब पांच करोड़ के सोने-चांदी के जेवर बरामद हुए थे जिसके बाद से दोनों को गिरफ्तार किया गया था।