नयी दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार को अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान विपक्ष पर जमकर हमला किया। उन्होंने कहा कि हमारी प्लानिंग और परिश्रम की निरंतरता बनी रहेगी, जिसका परिणाम होगा कि हम विश्व में तीसरे स्थान पर पहुंच कर रहेंगे। देश का विश्वास है कि 2028 में आप जब अविश्वास प्रस्ताव लेकर आएंगे, तब ये देश पहले 3 देशों में होगा।
प्रधानमंत्री ने विपक्ष की आर्थिक नीति पर सवाल उठाते हुए कहा कि विपक्ष का यही रवैया चलता रहा तो देश के दिवालिया होने की गारंटी है।
प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में कहा कि विपक्ष की अर्थव्यवस्था डूबने, डबल डिजिट महंगाई, नीति पेरालाइसिस, अस्थिरता, भ्रष्टाचार, तुष्टीकारण, परिवार, बेरोजगारी, आतंक, हिंसा व तुष्टीकरण और देश को दो शताब्दी पीछे पहुंचाने की गारंटी है।
पूर्वोत्तर में शांति की अपील करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि निकट भविष्य में वहां शांति का सूरज उगेगा।
विपक्ष के प्रयास से संसद में आने को मजबूर हुए प्रधानमंत्री मोदी : कांग्रेस
कांग्रेस ने कहा कि विपक्ष के प्रयास से प्रधानमंत्री मोदी संसद में आने के लिए मजबूर हुए हैं। इसी लिए हम लोगों (इंडिया घटक दल के) ने मिलकर लोकसभा में अविश्वास प्रस्ताव पेश किया था।
कांग्रेस के लोकसभा सांसद गौरव गोगोई ने गुरुवार को एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि हमारे अविश्वास प्रस्ताव के कारण आज संसद में प्रधानमंत्री मोदी आने को मजबूर हुए। यह हमारे प्रयास की जीत है। हम मणिपुर के लोगों को न्याय दिलाने के लिए ऐसा कर रहे थे।
गोगोई ने कहा कि हम उनसे (प्रधानमंत्री) से सवाल पूछना चाहते हैं कि उन्होंने मणिपुर में हुई हिंसा को लेकर अभी तक क्यों नहीं कुछ कहा और राज्य के मुख्यमंत्री को पद से क्यों नहीं हटाया?
गोगोई ने कहा कि मणिपुर हिंसा को 100 दिन से अधिक हो गए। इतने दिन तक प्रधानमंत्री इसे नजरअंदाज करते रहे। देश के एक हिस्से को जलता छोड़ वह घूमते रहे। आज इंडिया ने उन्हें सदन में बोलने के लिए मजबूर कर दिया है।
उल्लेखनीय है कि आज प्रधानमंत्री विपक्ष की ओर से पेश किए गए अविश्वास प्रस्ताव पर लोकसभा में अपनी बात रख रहे थे लेकिन कांग्रेस सहित इंडिया घटक दलों ने संसद से वॉकआउट किया। जिसके बाद प्रधानमंत्री ने कहा कि विपक्ष में सच सुनने की क्षमता नहीं है।