कोलकाता : ममता बनर्जी सरकार की महत्वाकांक्षी (डोर टू डोर राशन) ‘दुआरे राशन” परियोजना को वापस लेने की मांग पर राशन डीलरों ने अभियान शुरू किया है। राशन डीलरों के संगठन ज्वाइंट फोरम फॉर वेस्ट बंगाल राशन डीलर्स के नेतृत्व में राशन डीलरों ने राज्य सरकार की इस योजना के खिलाफ अभियान शुरू किया है। प्राप्त जानकारी के अनुसार राशन डीलरों ने इस अभियान को ”दीदीर पाए डीलरेर आर्तनाद” (दीदी के चरणों में डीलरों की कराह) का नाम दिया है।
इस अभियान के तहत पूरे पश्चिम बंगाल के राशन डीलर ममता बनर्जी को स्पीड पोस्ट के माध्यम से अपनी समस्याओं को लिखेंगे और यह भी बताएंगे कि उनके लिए घर-घर राशन पहुंचा पाना संभव नहीं है। डीलरों की संस्था की ओर से गुरुवार को बताया गया है कि वे सिर्फ यहीं नहीं रुकेंगे, आगामी 27 दिसंबर को श्याम बाजार के पंचमुखी मोड़ और बाबू घाट से वे राज्य सरकार की ‘’दुआरे राशन” योजना के खिलाफ दो रैलियां निकालेंगे।
राशन डीलरों के संगठन का दावा है कि सरकार वर्तमान समय में राशन डीलरों को जो कमीशन दे रही है उसमें लोगों के घर-घर जाकर राशन पहुंचाना उनके लिए बिल्कुल भी संभव नहीं है। इसमें कई प्रकार की भी समस्याएं आ रही हैं।
संगठन के महासचिव विश्वम्भर बसु ने बताया कि लोग भी चाहते हैं कि उन्हें पहले की तरह राशन की दुकान से ही राशन मिले। वे अपने मोहल्ले में राशन की गाड़ियों का इंतजार नहीं करना चाहते। हम चिट्ठी लिखकर दीदी को अपनी समस्याओं से अवगत कराएंगे।
उल्लेखनीय है कि ममता बनर्जी ने बंगाल विधानसभा चुनाव से पहले इसकी घोषणा की थी कि प्रत्येक जिले में राशन डीलरों के जरिए इस परियोजना की शुरुआत की जाएगी।