मुंबई : महाराष्ट्र के गृहमंत्री दिलीप वलसे पाटिल ने कहा है कि पूर्व मुंबई पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह के निलंबन की प्रक्रिया शुरू हो गई है। परमबीर की चांदीवाल आयोग के समक्ष पेश होने से पहले आरोपित सचिन वाझे से मुलाकात और होमगार्ड कार्यालय में जाने की भी जांच की जाएगी।
दिलीप वलसे पाटिल ने मंगलवार को पत्रकारों को बताया कि परमबीर सिंह ने सोमवार को चांदीवाल आयोग के समक्ष पेश होने से पहले आरोपित सचिन वाझे से मुलाकात की थी। परमबीर सिंह कई मामलों में आरोपित हैं। कानूनन कोई भी आरोपित अन्य आरोपित से मिल नहीं सकता है। इन दोनों आरोपितों ने किसके आदेश से मुलाकात की, इसकी जांच की जा रही है। परमबीर महाराष्ट्र होमगार्ड विभाग में गए थे। उनकी नियुक्ति महाराष्ट्र होमगार्ड विभाग के प्रमुख के रूप में की गई थी, लेकिन उन्होंने अभी तक चार्ज नहीं लिया है।
गृहमंत्री ने बताया कि परमबीर सिंह महाराष्ट्र होमगार्ड विभाग के वेटिंग रूम में ही बैठे थे। कार्यालय में नहीं गए। इस मामले की जांच की जाएगी। उल्लेखनीय है कि परमबीर सिंह को राज्य सरकार ने मुंबई पुलिस आयुक्त पद से हटाकर महाराष्ट्र होमगार्ड विभाग का प्रमुख बना दिया था, लेकिन परमबीर सिंह ने नया पद ग्रहण नहीं किया था।
परमबीर सिंह ने पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख पर 100 करोड़ रुपये प्रतिमाह रंगदारी वसूली का लक्ष्य देने का आरोप लगाते हुए मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को पत्र लिखा था। इसी पत्र के आधार पर मुख्यमंत्री ने वसूली मामले की जांच के लिए चांदीवाल आयोग का गठन किया है। चांदीवाल आयोग के समक्ष आज पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख और सचिन वाझे से पूछताछ हो रही है।