इस सप्ताह ही होगी नौकरी गंवाने वालों के साथ बैठक : शिक्षा मंत्री

मुख्य सचिव ने कहा – “संयम रखें, हम समीक्षा याचिका दाखिल कर रहे हैं”
कोलकाता : कसबा में स्कूल निरीक्षक कार्यालय के सामने हुई घटना के बाद पश्चिम बंगाल के शिक्षा मंत्री ब्रात्य बसु ने नौकरी गंवाने वाले अभ्यर्थियों से धैर्य बनाए रखने की अपील की है। इसी के साथ राज्य के मुख्य सचिव मनोज पंत ने भी आंदोलनकारियों से संयम बरतने का अनुरोध करते हुए कहा कि राज्य सरकार उनके साथ है और सर्वोच्च न्यायालय में समीक्षा याचिका (रिव्यू पिटिशन) दायर की जा रही है।

मुख्य सचिव ने आंदोलनकारियों को चेताते हुए कहा कि कृपया कानून को अपने हाथ में न लें। उन्होंने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार मानवीय दृष्टिकोण से नौकरी गंवाने वाले अभ्यर्थियों के साथ खड़ी है और हरसंभव प्रयास कर रही है।

ब्रात्य बसु ने जानकारी दी कि इस सप्ताह के भीतर शिक्षा विभाग के अधिकारियों और नौकरी गंवाने वाले अभ्यर्थियों के बीच बैठक आयोजित होगी। उन्होंने कहा कि एक ओर बैठक और दूसरी ओर उग्र आंदोलन – दोनों एक साथ नहीं चल सकते। अभ्यर्थियों को कम से कम बैठक तक धैर्य रखना चाहिए।

बुधवार को कसबा में स्कूल निरीक्षक से मिलने पहुंचे कुछ नौकरी गंवाने वाले अभ्यर्थी पुलिस के साथ बहस में उलझ गए थे। इस दौरान धक्का-मुक्की भी हुई। अभ्यर्थियों ने आरोप लगाया कि पुलिस ने उन्हें लाठियों से पीटा, धक्का दिया और लात मारी।

इस घटना के बाद राज्य सचिवालय नवान्न में एक संवाददाता सम्मेलन आयोजित किया गया, जिसमें मुख्य सचिव मनोज पंत, कोलकाता पुलिस कमिश्नर मनोज वर्मा और राज्य पुलिस के एडीजी (कानून-व्यवस्था) जावेद शमीम उपस्थित थे।

मुख्य सचिव ने कहा, “मुख्यमंत्री ने पहले भी भरोसा दिलाया था कि सरकार नौकरी गंवाने वालों के साथ है। हम हर संभव प्रयास कर रहे हैं। इसके बावजूद, कुछ उकसावे या भड़कावे के कारण ऐसी घटनाएं हुईं, जो दुर्भाग्यपूर्ण हैं।”

मुख्य सचिव ने यह भी बताया कि राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की है, जिसमें अनुरोध किया गया है कि सभी प्रभावित शिक्षक काम करना जारी रख सकें। साथ ही, जल्द ही निर्णय की पुनर्विचार याचिका भी दाखिल की जाएगी।

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