तारीख- 9 अप्रैल 2003, दुनिया ने टीवी स्क्रीन पर देखा कि क्रेन से एक विशालकाय प्रतिमा के गले के हिस्से से हुक लगाकर नीचे गिराया जा रहा है। आसपास लोगों की भीड़ जश्न मना रही है। क्रेन ने देखते ही देखते इसे नीचे गिरा दिया। यह इराक के फिरदौस चौराहे पर लगी तानाशाह सद्दाम हुसैन […]
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सुविख्यात चित्रकार पाब्लो पिकासो से उनकी एक महिला प्रशंसक ने उसके लिए एक पेंटिंग बना देने का अनुरोध किया। पिकासो ने महज 10 सेकेंड में पेंटिंग बनाकर महिला को सौंपते कहा- ये लो मिलियन डॉलर की पेंटिंग। महिला को हरगिज भरोसा नहीं हुआ। अगले दिन महिला पेंटिंग लेकर बाजार गई तो हैरान गई, जब दुकानदारों […]
सदी के महान संगीतकारों में शामिल ख्यातिलब्ध सितार वादक पंडित रविशंकर ने पश्चिमी देशों में भारतीय शास्त्रीय संगीत की ऐसी छाप छोड़ी कि जॉर्ज हैरिसन जैसे प्रख्यात संगीतकार भी उन्हें अपना प्रेरणास्रोत मानने लगे। दुनिया भर में मशहूर बीटल्स ग्रुप भी उनके मुरीदों में था। 7 अप्रैल 1920 को बनारस में पैदा हुए पंडित रविशंकर […]
कभी-कभी कुछ तिथियां इतिहास का अहम और यादगार हिस्सा बन जाती हैं। अन्य तिथियों की तरह 6 अप्रैल भी दुनिया की प्रमुख ऐतिहासिक घटनाओं का भी गवाह है। … और इससे इतर भारत के आजादी आंदोलन और स्वतंत्र भारत के राजनीतिक इतिहास का भी इससे गहरा रिश्ता है। देश के प्रमुख राजनीतिक स्तंभों में से […]
90 के दशक की खूबसूरत अभिनेत्री दिव्या भारती महज तीन साल के भीतर मायानगरी में छा गईं। दिव्या भारती को अपनी पीढ़ी का सबसे आकर्षक युवा अभिनेत्री का खिताब हासिल था। 14 फरवरी 1974 को जन्मी दिव्या भारती ने 1990 में तेलुगू फिल्म ‘बोब्बिली’ से फिल्मी जीवन की शुरुआत की और आगे चलकर एक साल […]
तब संयुक्त राष्ट्र अपने शैशव काल में था, उसके गठन के कुछेक साल ही बीते थे। 1947-48 में मानवाधिकारों के सार्वभौमिक घोषणा पत्र (यूडीएचआर) का मसौदा तैयार किया जा रहा था। संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार आयोग में उस समय अमेरिकी सदस्या के साथ सिर्फ एक अन्य महिला सदस्य थीं जो भारतीय थीं- डॉ. हंसा मेहता। यूनिवर्सल […]
इतिहास में हर तारीख का अपना महत्व होता है। हर तिथि खास होती है। संचार क्रांति के लिहाज से 3 अप्रैल पूरी दुनिया के लिए महत्वपूर्ण है। मोबाइल फोन और कंप्यूटर के बिना आज की दुनिया की कल्पना नहीं की जा सकती। इन दो अविष्कारों ने दूरसंचार और सूचना प्रौद्योगिकी का चेहरा बदल दिया है। […]
कैलेंडर की कुछ तिथियां इतिहास बन जाती हैं। भारत के लिए साल 1984 की 2 अप्रैल ऐसी ही तिथि है जब किसी भारतीय ने पहली बार अंतरिक्ष में कदम रखे। भारत के हिस्से में यह ऐतिहासिक उपलब्धि दर्ज कराने का श्रेय विंग कमांडर राकेश शर्मा को जाता है। अस्सी के दशक की शुरुआत में भारत […]
पूरी दुनिया में अप्रैल फूल (मूर्ख दिवस) पहली अप्रैल को मनाया जाता है। इस दिन समझदार और प्रतिभाशाली व्यक्ति भी मूर्ख बनने, बनाने या कहलाने में खुशी महसूस करते हैं। भारतीय सिनेमा भी इससे अछूता नहीं है। निर्माता-निर्देशक सुबोध मुखर्जी ने 1964 में इस नाम से फिल्म ‘अप्रैल फूल’ ही बना डाली। विश्वजीत और सायरा […]
भारतीय सिनेमा के लिए 30 मार्च महज तारीख नहीं है। इस तारीख का भारतीय सिनेमा के इतिहास में खास महत्व है। 30 मार्च 1992 को भारतीय सिनेमा के युगपुरुष सत्यजीत रे को आस्कर लाइफ टाइम अचीवमेंट मानद पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। यही नहीं देश के सिनेमा के इतिहास में अपना नाम स्वर्णिम अक्षरों […]